पितृपक्ष कब से हो रहा है आरंभ, जानें श्राद्ध की सभी प्रमुख तिथियां और तारीख
पितृपक्ष कब से हो रहा है आरंभ, जानें श्राद्ध की सभी प्रमुख तिथियां और तारीख
प्रयागराज पितृपक्ष में पूर्वजों की आत्मा की शांति के लिए श्राद्ध और तर्पण आदि क्रम किए जाते हैं। पितृ पक्ष के दौरान पितर लोक से पितर धरती लोक पर आते हैं। इसलिए इस दौरान उनके नाम से पूजा पाठ करना उनकी आत्मा को शांति देता है। साथ ही उन्हें मोक्ष मिलता है। आइए जानते हैं इस साल श्राद्ध की सभी प्रमुख तिथियां और तारीख
पितृपक्ष जिसे श्राद्ध भी कहा जाता है अपने पितरों की आत्मा की शांति के लिए किया जाता है। पितरों की पूजा और तर्पण आदि कार्यों के लिए श्राद्ध पक्ष बहुत ही उत्तम माना जाता है। पितृपक्ष के दौरान हमारे पूर्वज पितृ लोक से धरती लोक पर आते हैं। इसलिए इन दिनों में उनके श्राद्ध, तर्पण, और पिंडदान आदि करने का विधान है। ऐसी मान्यता है कि पितरों का श्राद्ध आदि करने से व्यक्ति को मोक्ष की प्राप्ति होती है। आइए जानते हैं इस साल कब से आरंभ हो रहा है पितृपक्ष और श्राद्ध की सभी तारीख पितृपक्ष इस बार पितृ पक्ष का आरंभ 17 सितंबर से हो रहा है और 2 अक्टूबर तक चलेगा। यहां देखें श्राद्ध की सभी प्रमुख तिथियां। अपने पूर्वज पितरों के प्रति श्रद्धा भावना रखते हुए आश्विन कृष्ण पक्ष में पितृ- तर्पण और श्राद्ध कर्म करना नितान्त आवश्यक है। इससे स्वास्थ्य, समृद्धि, आयु, सुख- शान्ति, वंशवृद्धि एवं उत्तम सन्तान की प्राप्ति होती है। श्रद्धापूर्वक किए जाने के कारण ही इसका नाम ‘श्राद्ध’ है। इस बात का भी ध्यान रहे कि श्राद्धकृत्य ‘अपराह्नकाल’ व्यापिनी तिथि में किए जाते हैं।श्राद्ध 2024 की सभी प्रमुख तिथियां और तारीख
प्रोषठपदी\ पूर्णिमा का श्राद्ध – 17 सितंबर मंगलवार
प्रतिपदा का श्राद्ध – 18 सितंबर बुधवार
द्वितीया का श्राद्ध – 19 सितंबर गुरुवार
तृतीतया का श्राद्ध – 20 सितंबर शु्क्रवार
चतुर्थी का श्राद्ध – 21 सितंबर शनिवार
पंचमी का श्राद्ध – 22 सितंबर रविवार
षष्ठी का श्राद्ध और सप्तमी का श्राद्ध – 23 सितंबर सोमवार
अष्टमी का श्राद्ध – 24 सितंबर मंगलवार
नवमी का श्राद्ध – 25 सितंबर बुधवार
दशमी का श्राद्ध – 26 सितंबर गुरुवार
एकादशी का श्राद्ध – 27 सितंबर शुक्रवार
द्वादशी का श्राद्ध – 29 सितंबर रविवार
मघा का श्राद्ध – 29 सितंबर रविवार
त्रयोदशी का श्राद्ध – 30 सितंबर सोमवार
चतुर्दशी का श्राद्ध – 1 अक्टूबर मंगलवार
सर्व पितृ अमावस्या – 2 अक्टूबर बुधवार
बता दें कि 28 सितंबर को किसी तिथि का श्राद्ध नहीं होगा। चतुर्दशी तिथि को केवल शस्त्र, विष, दुर्घटनादि (अपमृत्यु) से मृतों का श्राद्ध होता है। उनकी मृत्यु चाहे किसी अन्य तिथि में हुई हो। चतुर्दशी तिथि में सामान्य मृत्यु वालों का श्राद्ध अमावस्या तिथि में करने का शास्त्र विधान है।