March 27, 2025

औद्योगिक विकास मंत्री नन्द गोपाल गुप्ता नन्दी ने कुंभ कलश भेंट कर केंद्रीय मंत्री का किया स्वागत

0

त्रिवेणी संगम में आस्था की डुबकी लगाना अलौकिक क्षण: ज्योतिरादित्य सिंधिया

*औद्योगिक विकास मंत्री नन्द गोपाल गुप्ता नन्दी ने कुंभ कलश भेंट कर केंद्रीय मंत्री का किया स्वागत*

*प्रयागराज से सिंधिया परिवार का रहा है ऐतिहासिक सम्बंध*

*केंद्रीय मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया ने संगम में सपरिवार लगाई आस्था की डुबकी*

सनातन परम्परा की दिव्य अभिव्यक्ति एवं विश्व के सबसे बड़े धार्मिक समागम महाकुम्भ में सम्मिलित होने एवं पावन त्रिवेणी संगम में आस्था की डुबकी लगाने के लिए तीर्थराज प्रयागराज आगमन पर उत्तर प्रदेश सरकार के औद्योगिक विकास मंत्री नन्द गोपाल गुप्ता नन्दी ने केंद्रीय मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया को कुम्भ कलश भेंट कर प्रदेश सरकार की ओर से हार्दिक स्वागत एवं अभिनन्दन किया। केंद्रीय मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया ने त्रिवेणी संगम में आस्था की डुबकी लगाई।

मंत्री नन्दी ने कहा कि महाकुम्भ एकात्मकता एवं समरसता का जीवंत महोत्सव है। आस्था की ऊंचाई, अध्यात्म की गहराई, संस्कृति की पहचान और संस्कारों की जीवंतता है।

केंद्रीय मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया ने दिव्य एवं भव्य महाकुम्भ के लिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी एवं मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ को धन्यवाद ज्ञापित किया।

केंद्रीय मंत्री ने कहा कि युग-युग युगान्तर से पीढ़ियों को ऐसे छण का इंतजार रहता है। विश्व में यह अनोखा समय है जहां विश्व के लोग स्वतः आकर त्रिवेणी संगम में आस्था की डुबकी लगा रहे हैं। संगम में आस्था की डुबकी लगा चुके सभी 50 करोड़ श्रद्धालुओं के लिए महाकुम्भ में सम्मिलित होना और संगम दर्शन करना महत्वपूर्ण ही नहीं, अलौकिक छण है। इस दिव्य एवं भव्य आयोजन के लिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी, मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ जी, मंत्री नन्द गोपाल गुप्ता नन्दी जी को धन्यवाद अर्पित करता हूं। सभी श्रद्धालुओं का ख्याल रखा गया।

केंद्रीय मंत्री ने कहा कि प्रयागराज से सिंधिया परिवार का ऐतिहासिक सम्बंध रहा है। जब हमारे पूर्वज श्रीमंत महाराज ने इस क्षेत्र को स्वतंत्र किया था मुगलशासन से और यहां हमारे आध्यात्मिक शक्तियों, मंदिरों को पूर्ण करने का कार्य समूचे क्षेत्र में उन्होंने अपने हाथों में लिया था। यह हमारे लिए भावनात्मक क्षण है। खुद को सौभाग्यशाली समझता हूं कि मोक्ष प्राप्ति का क्षण हमें इस संगम में स्रान करके प्राप्त हुआ है।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *