जड़ी-बूटियों की ‘रानी’ है ये पत्ती इसे चबाने से याददाश्त बढ़ती है.. डॉ रेखा सिंह
जड़ी-बूटियों की ‘रानी’ है ये पत्ती इसे चबाने से याददाश्त बढ़ती है.. डॉ रेखा सिंह
प्रयागराज हिंदू धर्म के अनुसार तुलसी का पौधा घर के आंगन में लगाने से मनुष्य के पूर्व जन्म के पाप समाप्त हो जाते हैं. पर्यावरण शुद्धता के लिए भी तुलसी का पौधा बहुत सहायक है. सुबह-सुबह खाली पेट तुलसी के पत्ते चबाकर पानी पीने से याददाश्त बढ़ती है. मान्यता है कि तुलसी में धन की देवी लक्ष्मी का निवास भी होता है.पौराणिक मान्यता यह है कि तुलसी माता की कृपा प्राप्त करने के लिए रोजाना जल अर्पित करना चाहिए. शाम को तुलसी के पौधे के सामने घी का दीपक जलाना चाहिए. धर्मशास्त्र के अनुसार तुलसी की पूजा करने से पापों से मुक्ति मिलती है.डॉ रेखा सिंह ने बताया कि तुलसी को रविवार और एकादशी के दिन जल अर्पित नहीं करना चाहिए क्योंकि मान्यता बनी हुई है कि एकादशी पर तुलसी भी निर्जला व्रत रखती है इसलिए दोनों दिन ना तो तुलसी को जल अर्पित करें ना ही पत्ते तोड़ने चाहिए.तुलसी के आयुर्वेदिक फायदेआयुर्वेद में तुलसी को जड़ी बूटियों की ‘रानी’ कहा जाता है. तुलसी के पत्तों का सेवन करने से त्वचा संबंधी समस्याएं दूर होती है. यह एंटीऑक्सीडेंट का काम भी करता है. सर्दी खासी और जुखाम जेसे समस्या में तुलसी रामबाण इलाज है. तुलसी के पत्ते को उबाल कर पीने कोरोना काल में काफी लाभदायक माना गया था. यह पाचन तंत्र को बेहतर करती है. इसके अलावा यह रक्त शुद्ध और बल्ड प्रेशर कम करती हैं. इसका उपयोग दांतों की देखभाल में भी किया जाता है और श्वसन संबंधी विकारों के इलाज में तुलसी कारगर है.